Newindianews/CG मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने आज सरगुजा जिले के मैनपाट में भगवान बुद्ध की भव्य प्रतिमा का अनावरण किया और राज्य में शांति, करुणा और समावेशी संस्कृति के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दोहराई। मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ में बौद्ध परंपरा की जड़ें अत्यंत गहरी हैं और राज्य सरकार बुद्ध के विचारों को आत्मसात करते हुए विकास के मार्ग पर अग्रसर है।
शांति और सौहार्द की नई पहचान बनेगा मैनपाट
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि भगवान बुद्ध की यह प्रतिमा मैनपाट को शांति और सांस्कृतिक समरसता का प्रतीक बनाएगी। उन्होंने सिरपुर की बौद्ध, जैन और सनातन परंपराओं का उल्लेख करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ समावेशी विरासत का राज्य है।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए अपनी औद्योगिक नीति में विशेष प्रावधान किए हैं। होम-स्टे योजनाओं को बढ़ावा दिया जाएगा, जिससे स्थानीय युवाओं को रोजगार और मैनपाट को पहचान मिलेगी।
विकास कार्यों की घोषणा: सीसी रोड और मंदिर शेड
कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने 30 लाख रुपये के विकास कार्यों की घोषणा की। इनमें:
-
10 लाख रुपये: सैला रिसॉर्ट से बौद्ध मंदिर तक सीसी रोड निर्माण
-
20 लाख रुपये: प्राचीन बौद्ध मंदिर परिसर में शेड निर्माण
तिब्बती परंपरा के अनुसार आत्मीय स्वागत
मुख्यमंत्री श्री साय का पारंपरिक तिब्बती रीति-रिवाजों से स्वागत किया गया, जिसने माहौल को आत्मीय और उल्लासपूर्ण बना दिया। उन्होंने पौधरोपण कर पर्यावरण संरक्षण का संदेश भी दिया।
मुख्यमंत्री ने दलाई लामा जी के 90वें जन्मदिवस का स्मरण करते हुए कहा कि उनका जीवन बुद्ध के सिद्धांतों का जीवंत उदाहरण है, और आज भी उनकी विचारधारा दुनिया भर में प्रेरणा देती है।
उपस्थित गणमान्य अतिथि
कार्यक्रम में सांसद चिंतामणि महाराज, विधायक रामकुमार टोप्पो, कलेक्टर विलास भोसकर, तिब्बती समिति के अध्यक्ष तामदिंग सेरिंग, लामा दुब्जे व लामा जिनपा सहित बड़ी संख्या में तिब्बती समुदाय के सदस्य उपस्थित थे।